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यरूशलम – इज़राइली अधिकारियों ने अल-अक़सा मस्जिद के ख़तीब (इमाम) शेख़ एकरिमा साबरी पर मस्जिद में दाख़िले की पाबंदी को एक बार फिर छह महीने के लिए बढ़ा दिया है। यह तीसरी बार है जब उन पर इस तरह का प्रतिबंध लगाया गया है।
रिपोर्ट के मुताबिक़, यह कदम इज़राइल की उस जारी नीति का हिस्सा है जिसके तहत कब्ज़े वाले यरूशलम में धार्मिक नेताओं को निशाना बनाया जा रहा है और अल-अक़सा मस्जिद के भीतर धार्मिक गतिविधियों को सीमित करने की कोशिश की जा रही है।
शेख़ सबरी को पिछले कई सालों में कई बार मस्जिद से दूर रहने के आदेश दिए जा चुके हैं। उन्हें सुरक्षा एजेंसियों के समन और पूछताछ का भी सामना करना पड़ा | इसके अलावा शेख़ सबरी लंबे समय से अल-अक़सा मस्जिद में इज़राइली घुसपैठ का विरोध करते रहे हैं और मुसलमानों के मस्जिद में आज़ादी से नमाज़ अदा करने के अधिकार की मज़बूती से पैरवी करते हैं।
उन पर लगाया गया यह नया प्रतिबंध इस बात का संकेत है कि इज़राइल धार्मिक आवाज़ों और अल-अक़सा से जुड़ी स्वतंत्र धार्मिक अभिव्यक्ति को सीमित करने की नीति जारी रखे हुए है।